ख़तरे- ए- जान मुर्दे: नोएडा के अंतिम निवास पर कोरोना का ख़तरा ?

रिपोर्ट :  राजेश बैरागी-
नोएडा। जननपद गौतमबुद्धनगर का एकमात्र सीएनजी शवदाह गृह (नोएडा सेक्टर 94 स्थित अंतिम निवास)कोरोना संक्रमण के खतरे के नीचे काम कर रहा है। यहां भारत सरकार द्वारा कोरोना मृत देह का अंतिम संस्कार के लिए निर्धारित दिशा-निर्देशों का पालन कराने की व्यवस्था नहीं है।



नोएडा सेक्टर 94 स्थित अंतिम निवास जनपद गौतमबुद्धनगर का एकमात्र सीएनजी शवदाह गृह भी है। जनपद में कोरोना से मौतों का सिलसिला शुरू होने के साथ इस शवदाह गृह की उपयोगिता भी बढ़ गई है। यहां स्थापित दो सीएनजी शवदाह मशीनों के संचालन व रखरखाव की जिम्मेदारी नोएडा प्राधिकरण की है। इनमें से एक मशीन लंबे समय से खराब पड़ी है, जबकि दूसरी मशीन हाल ही में ठीक कराई गई है। इस अकेली मशीन पर कोरोना संक्रमित मृत देह का अंतिम संस्कार किया जा रहा है।


भारत सरकार द्वारा जारी दिशा-निर्देशों के अनुसार कोरोना से मृत देह के अंतिम संस्कार के काम में लाई जाने वाली सीएनजी मशीन को आरक्षित किया जाना आवश्यक है तथा उस मशीन व आसपास के स्थान को कीटाणु शोधक से हर बार पहले व बाद में स्वच्छ किया जाना चाहिए। इसके साथ ही अंतिम संस्कार के कार्य में लगे कर्मचारियों को पीपीई किट व सुरक्षा उपकरण उपलब्ध कराये जाने चाहिए तथा उन्हें जरूरी प्रशिक्षण भी दिया जाना चाहिए।


इस संबंध में अंतिम निवास का प्रबंधन करने वाली संस्था नोएडा लोक मंच द्वारा प्राधिकरण व जिला प्रशासन को कई बार पत्र लिखकर आवश्यक व्यवस्थाएं कराने की मांग की गई है परंतु किसी के कान पर जूं नहीं रेंग रही है। ऐसे हालात में अंतिम संस्कार कार्य में लगे कर्मचारियों को भी संक्रमण का भय बना हुआ है। दूसरी ओर सामान्य रूप से मरने वालों की संख्या में भी वृद्धि हो रही है। इनमें से अनेक लोग सीएनजी से अंतिम संस्कार कराने को वरीयता देते हैं, परंतु एक ही मशीन चालू होने से सामान्य मृतकों का सीएनजी से अंतिम संस्कार नहीं किया जा रहा है। लकड़ी की आपूर्ति बाधित होने से आने वाले समय में समस्या और बढ़ सकती है।